कंप्यूटर का परिचय-
कंप्यूटर शब्द की उत्पत्ति कंप्यूट (compute) शब्द से हुई है जिसका अर्थ है ‘गणना’ करना। अत: बोलचाल की भाषा में इसे एक ‘कैलकुलेटिंग डिवाइस’ माना जाता है जो अर्थमेटिकल और लॉजिकल ऑपरेशंस को तेजी के साथ कर सकता है, परंतु आज इसकी परिभाषा ही बदल गई है क्योंकि अब कंप्यूटर का उपयोग सिर्फ गणना तक सीमित नहीं है आज कल कंप्यूटर का उपयोग दिन प्रतिदिन uses of computer in hindi बढ़ता जा रहा है ।
आज इसका उपयोग में म्यूजिक, ग्राफ्टिंग, इंटरनेट आदि कई अन्य क्षेत्रों में भी हो रहा है। अतः कहा जा सकता है कि एक इलेक्ट्रॉनिक डिवाइस है जो डाटा को एक्सेप्ट करता है और एक विस्तृत स्टेप बाई स्टेप प्रोसेसिंग के बाद उसे इन्फॉर्मेशन में बदल देता है और आउटपुट रिजल्ट प्रस्तुत करता है या हमारी आवश्यकताओं के अनुसार डेटा को एक्लेप्ट और उन्हें मैनीपुलेट करता है।
कंप्यूटर का फुल फॉर्म(Full Form Of Computer In Hindi)-
कंप्यूटर का विकास क्रम 3000 वर्ष पुराना है। चीन ने सबसे पहले गणना यंत्र ‘अबेकस’ का आविष्कार किया था। कंप्यूटर का पूरा नाम (Full Form Of Computer In Hindi)‘इलेक्ट्रॉनिक नंबरिकल्स इंटीग्रेटर एंड केलकुलेटर’ है इसका विकास आर्मों के लिए किया गया था।
Calculation- Common- गणना
Operative- Oriented- क्रियाशील
Mechanics- Machine- यांत्रिक
Process- Particularly- प्रक्रिया
Useful- United- उपयोगी
The saurus- Technical- शब्दकोश
Extensive- Educational- विस्तृत
Research- Research- अनुसंधान शोध
(Full Form Of Computer In Hindi)कंप्यूटर का तात्पर्य ऐसे यंत्र से है जिसका उपयोग
गणना क्रियाशील यांत्रिकिय प्रक्रिया शब्दकोश उपयोगी विस्तृत अनुसंधान शोध आदि में किया जाता है।
कंप्यूटर के प्रकार(Types of computer in hindi)-
कंप्यूटर को मुख्य तीन भागों में बांटा जाता है।
1.analog
2.digital- Micro,Mini, mainframe, super
3.hybrid.
analog- एनालॉग कंप्यूटर का उपयोग ज्यादातर चिकित्सा विज्ञान में किया जाता है। इस तरह की कंप्यूटर नियंत्रण डेटा वैल्यू पर काम करते हैं। उदाहरण के लिए यदि आपको दबाव या कुछ इसी तरह की गणना करनी है तो इस प्रकार की तकनीकी का होना उपयोगी होगा।
digital Computer- डिजिटल तकनीकी पर सबसे अधिक इस्तेमाल किया जाने वाला कंप्यूटर है जो आजकल में व्यापक रूप से उपयोग किया जाता है और पसंद किया जाता है। इस तरह के कंप्यूटर माइक्रोप्रोसेसर तकनीकी का उपयोग करते हैं जो डिजिटल है और 1 सेकंड में लाखों निर्देशो की गणना और क्रियान्वयन करने में सक्षम है। इनको चार श्रेणियों में बांटा गया है।
Micro Computer- प्रोसेस बहुत छोटा होने के कारण माइक्रोप्रोसेसर और डिवाइज को माइक्रोकंप्यूटर कहा जाता है। माइक्रोकंप्यूटर सिंगल यूजर डिवाइस का उदाहरण है- डेस्कटॉप, लैपटॉप, पॉमटॉप, नोटबुक, पीडीए इत्यादि।
Mini Computer- मिनी कंप्यूटर का प्रोसेसर छोटा किंतु माइक्रोप्रोसेसर से बड़ा होता है। मिनी कंप्यूटर मल्टी यूजर डिवाइस है। इसे आमतौर पर व्यवसायिक उपयोग के लिए डिजाइनिंग कंपनी में उपयोग किया जाता है।
mainframe Computer- मेनफ्रेम इसमें बड़ा प्रोसेस और मल्टी यूजर डिवाइस होता है। यूजर की संख्या मिनी कंप्यूटर से ज्यादा होती है। Multi-user और मल्टीटास्किंग डिवाइस है जिसका उपयोग ज्यादातर मेट्रोलॉजी में किया जाता है।
super Computer- यह प्रोसेसर अन्य कंप्यूटर की तुलना में सबसे बड़ा होता है और प्रोसेसिंग क्षमता अन्य डिवाइसों की तुलना में सबसे अधिक है। यहां multi-user सबसे तेज गणना करने वाला डिवाइस है जिसका उपयोग आमतौर पर गणना के उद्देश्य के लिए न्यूक्लियर साइंस में किया जाता है। CRAY1 पहला सुपर कंप्यूटर है भारत का पहला सुपर कंप्यूटर है PARAM- 10000 है।
hybrid Computer- यहां कंप्यूटर का प्रयोग दोनों विशेषताओं, डिजिटल और एनालॉग के साथ आता है जिसे हाइब्रिड कहा जाता है। इसका उपयोग वहां किया जाता है जहां डिजिटल एंड एनालॉग डेटा दोनों की गणना करने की आवश्यकता होती है जैसे अस्पताल में।

कंप्यूटर की विशेषताएं(properties of computer in hindi)-
स्पीड Speed– कंप्यूटर एक बहुत ही तीव कार्य करने वाला इलेक्ट्रॉनिक यंत्र है जो किसी ने निर्देश को पल भर में क्रियान्वित करता है। यहां किसी कार्य को सेकंड के एक भाग समय में ही हल कर देता है जबकि हमें पूरा करने में घंटों लगते हैं।
शुद्धता Accuracy– कंप्यूटर बिना कोई गलती किये पूरा सही-सही गणनाए कर सकता है। कंप्यूटर में कोई गलती भी तभी आ सकती है जब व्यक्ति द्वारा गलती इनपुट या निर्देश दिया गया हो।
डिलिजेंस Diligence– कंप्यूटर बिना थके और उबकर किसी भी कार्य को कर सकता है।
भंडार क्षमता Storage Capacity- कंप्यूटर में एक मेमोरी होती है जहां यह बड़ी मात्रा में डेटा को लंबे समय तक और कम समय के लिए स्टोर कर सकते हैं।
वर्सेलिटी Versatility- कंप्यूटर की एक बहुत अच्छी विशेषताएं इसकी विविधता है जो एक ही समय में कई कार्य कर सकती है। जैसे अपने डॉक्यूमेंट ड्राफ्टिंग के दौरान म्यूजिक सुनना, कोई पेज प्रिंट करना इत्यादि।
कंप्यूटर की जनरेशन(generation of computer in hindi)-
अभी तक कंप्यूटर की पाँच जनरेशन (1954-1989) आई है जो इस प्रकार हैं।
First generation1945-1955
इस कंप्यूटर के प्रथम जनरेशन में वैक्यूम ट्यूबर टेक्नोलॉजी का उपयोग किया गया था जिसने कंप्यूटर को साकार कर गणना करना संभव किया। इस पीढ़ी में कंप्यूटर का उपयोग वैज्ञानिक एप्लीकेशंस के लिए किया जाता था और प्रोग्रामिंग मशीन स्तर की भाषाओं जैसी आईबीएम 701, ईएनआईएली आदि में किया गया था।
Second generation1955-1964
इस कंप्यूटर के द्वितीय जनरेशन में ट्रांजिस्टर टेक्नोलॉजी का उपयोग किया गया था, जिसने कंप्यूटर के आकार को थोड़ा छोटा और तेज कर दिया था। इस पीढ़ी में कंप्यूटर का उपयोग वैज्ञानिक यह एप्लिकेशनो और वाणिज्यिक एप्लीकेशनो के लिए किया जाता है।
प्रोग्रामिंग उच्च स्तरीय प्रोग्रामिंग भाषाओं जैसे आईबीएम 7030,हेनवेल 400 आदि में किया गया था।
Third generation1964-1974
इस कंप्यूटर के तृतीय जनरेशन में इंटीग्रेटेड सर्किटस (आई सी) टेक्नोलॉजी का उपयोग किया गया जिससे यह तुलनात्मक भरोसेमंद तथा तेज समझा गया। इस जनेरेशन में कंप्यूटर का उपयोग वैज्ञानिक,वाणिज्यिक और इंटररैक्टिव ऑनलाईन एप्लीकेशंस के लिए किया जाता है प्रोग्रामिंग हाई लेवल प्रोग्रामिंग भाषाओ जैसे- COBOL, FORTRAN, BASIC आदि में किया गया था।
Fourth generation1975-1989
कंप्यूटर की इस जनरेशन में तुलनात्मक रूप से बेहतर काम करने के लिए अंदर माइक्रोप्रोसेसर का उपयोग किया गया था। यहां आपके बीच कहीं भी प्रोर्टेबल होने के लिए सबसे विश्वसनीय और आकार में बहुत कम है.
इस जनरेशन में कंप्यूटर का उपयोग वैज्ञानिक,वणिज्यिक, इंटररैक्टिव ऑनलाइन एप्लीकेशन और नेटवर्क एप्लीकेशनओं के लिए किया जाता है। प्रोग्रामिंग हाई लेवल, प्रोग्रामिंग भाषाओ जैसे- आईबीएम, पीसी आदि ने की गई थी।
Fifth generation 1989 till date
यहां उन कंप्यूटरों की जनरेशन है जहां कंप्यूटरों को स्वचालित बुद्धिमत्ता दी जाती है वे आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस का उपयोग करते हैं, जहां वे अपने आईक्यू का भी उपयोग करे, ताकि समस्याओं का समाधान हो सके.
इन जनरेशन में कंप्यूटर का उपयोग वैज्ञानिक, वाणिज्यिक, इंटरएक्टिव ऑनलाइन एप्लीकेशंस, मल्टीमीडिया और नेटवर्क एप्लीकेशनों के लिए किया जाता है। प्रोग्रामिंग हाई लेवल प्रोग्रामिंग भाषाओं जैसे C#,जावा, पायथन आदि में किया गया था।
वर्तमान समय में कंप्यूटर का हमारे दैनिक जीवन में बहुत महत्व और उपयोगी है, कंप्यूटर की बेसिक एप्लीकेशन इस प्रकार से हैं।
World processing-
वर्ड प्रोसेसिंग के द्वारा हम अपने दैनिक कार्य जैसे पत्र टाइपिंग, रिज्यूम तैयार करना इत्यादि को आसानी से कर सकते हैं। कंप्यूटर स्वत: स्पेलिंग एवं ग्रामेटिकल त्रुटियों को स्वत: सुधार देता है।
In banking-
वर्तमान समय में नेट बैंकिंग बहुत ही पॉपुलर हो गई है। ज्यादातर लोग अपने बैंकिंग कारण नेट बैंकिंग के माध्यम से ही कर रहे हैं। आप नेट बैंकिग के माध्यम से धनराशि का ट्रांसफर एक खाते से दूसरे खाते में कर सकते हैं। जैसे कि आप देख सकते हैं कि बैंकों में होने वाले दैनिक कार्य, लेनदेन कंप्यूटर के ही सहायता से किया जाते हैं।
Internet-
यहां कंप्यूटर नेटवर्क को आपस में जोड़ने की एक वैश्विक प्रणाली है। इंटरनेट के माध्यम से आप लाइब्रेरी की अपेक्षा अधिक जानकारी प्राप्त कर सकते हैं। आपके पास जानकारी के लिए बहुत तेज और सुविधाजनक पहुँच भी है।
Hospitals-
अस्पताल में कंप्यूटर के माध्यम से ही अपने मरीजों के रिकार्ड्स की जानकारी ले सकते हैं। जैसे मरीज का नाम, बीमारी इत्यादि और एक क्लिक करने पर मरीज के बारे में पूरी जानकारी प्राप्त हो जाती है।
Digitals videos or audios compositions-
कंप्यूटर के द्वारा हम किसी भी प्रकार के ऑडियो वीडियो को कम्पोस एव एडिट कर सकते हैं। आप ऐसी एक्शन फिल्में में विशेष प्रभाव और विज्ञान में कथा डाल सकते हैं, जो कंप्यूटर का उपयोग करके बनाई जा रही है।
Communications-
आप वीडियो कॉलिंग, चैटिंग, ई-मेल आदि से परिचित होंगे। कम्प्यूटर के द्वारा आप वीडियो कॉलिंग, चैटिंग, ई-मेल, ई- लर्निंग के माध्यम से एक-दूसरे से बातचीत कर सकते हैं।
Desktop publishing-
डेस्कटप पब्लिसिंग किताबों की डिजाइन, ग्रीटिंग कार्ड, मैरिज कार्ड, ब्रोशर, मैगजीन, इत्यादि के लिए एक उपयोगी पैकेज है।
Telecommunications-
टेलीकम्युनिकेशन के क्षेत्र में आप देखेंगे कि मोबाइल फोन के अंदर सॉफ्टवेयर मौजूद रहता है जिसमें कस्टमर का डिटेल्स इत्यादि मौजूद रहता है। वर्तमान समय में मोबाइल फोन के दौरान आप किसी भी स्थान का लोकेशन एवं वहां तक पहुंचने के मार्ग को देख सकती हैं। आप हवाई रेल टिकट को मोबाइल फोन के दौरान सुरक्षित कर सकते हैं। आप एक एस. एम. एस भेजकर रेलवे टिकट के पी.एन.आर की स्थिति जान सकते हैं।
यह है कंप्यूटर की मूल डिवाइस(main devices of computer in hindi)-
इनपुट डिवाइस-
कंप्यूटर में इनपुट डिवाइस कंप्यूटर हार्डवेयर उपकरण का एक टुकड़ा है जिसका उपयोग सूचना प्रोसेसिंग सिस्टम जैसे कंप्यूटर या सूचना उपकरण के लिए डेटा और नियंत्रण सिग्नल प्रदान करने के लिए किया जाता है। इनपुट उपकरणों के उदाहरणों में कीबोर्ड, माउस, स्कैेनर डिजिटल कैमरा, जॉयस्टिक और माइक्रोफोन शामिल हैं।
आउटपुट डिवाइस-
आउटपुट डिवाइस हार्ड या सॉफ्ट रूप में परिणाम देते हैं। जिन उपकरणों का उपयोग उपयोगकर्ता को हार्ड कॉपी या सॉफ्ट कॉपी के रूप में डेटा को प्रदर्शित करने के लिए किया जाता है, उन्हें आउटपुट डिवाइस कहां जाता है। आउटपुट डिवाइस का उदाहरण स्क्रीन, मॉनिटर, प्रिंटर, प्लॉटर, प्रोजेक्टर, स्पीकर,हेडफोन है।
Full Form Of Computer In Hindi पे दी गयी विस्तृत जानकारी आपको कैसी लगी अपनी राय जरूर व्यक्त करें।
इसे भी पढ़ें – फेसबुक का नया नाम क्या है?